भारतीय युवती का रोमांचक सफर

समाज में जीना चाहिए या अपनी इस दुनिया में जहां आत्मा जीवित है, जहां आत्मा पे कोई बोझ नहीं, और जहां आत्मा क्यों कि जिस शरीर में रही तूने उसको को भी जंग नहीं लगने दिया। उसे वही दिया जो उसे चाहिए था।आज मेरे प्रिय ने फिर मेरी आत्मा को प्यासा वापस भेज दिया। एक लड़ाई बहुत तीव्रता से मेरे अंदर, पता नहीं कहाँ? BF XXX ऐसे तो मैंने जन्नत को कभी नहीं देखा था। आखिरकार मैंने बौखलाए हुए स्वर में जन्नत से पूछा कि: जन्नत क्या हुआ है तुम्हें ?पर जन्नत तो ऐसे रोए जा रही थी जैसे उसने आज चुप न होने की कसम खा रखी हो। मेरे दिल से अब जन्नत का रोना बर्दाश्त नहीं हो रहा था। मेरे अंदर की विवशता अब बढ़ती ही जा रही थी कि इतने में जन्नत ने मेरी पहले से ही बेचैन आत्मा पे एक और परमाणु बम दे मारा।जन्नत ने मुझे कहा आई लव यू रिजवान।मुझे ऐसे लग रहा था कि जैसे एक साथ किसी ने हजारों सुई मेरे शरीर में घुसेड़ दी हों। अगर जन्नत की रोती हुई आवाज मुझे फिर से न झकझोरती तो जाने कब तक मैं आश्चर्य में ही डूबा रहता। जन्नत ने रोते रोते कहा कि रिजवान बोलो न कुछ जवाब क्यों नहीं दे रहे मेरी इस बात का.

भारतीय युवती का रोमांचक सफर

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